chaarak meaning in braj

चारक

चारक के अर्थ :

  • स्रोत - संस्कृत

चारक के ब्रज अर्थ

पुल्लिंग

  • चलाने वाला व्यक्ति , संचारक ; गति ; चरवाहा; गुप्तचर ; सहचर ; घुड़सवार; कारागार , ८. मनुष्य

चारक के हिंदी अर्थ

संज्ञा, पुल्लिंग

  • गाय भैंस चराने वाला, चरवाहा
  • चलाने या संचार कराने वाला, संचारक
  • गति, चाल
  • चिरौंजी का पेड़, पियाल
  • कारागार
  • गुप्तचर, जासूस
  • सहचर, साथी
  • अश्वारोही, सवार
  • घूमने वाला ब्राह्मण छात्र या ब्रह्मचारी
  • मनुष्य, आदमी
  • चरक निर्मित ग्रंथ या सिद्धांत
  • वह क़ैद जिसमें न्यायाधीश विचारकाल में किसी को रखे, हवालात

विशेषण

  • चार एक, थोड़े

    उदाहरण
    . यह संपदा दिवस चारक की सोच समझ मन माहीं। सूर सुनत उठि चली राधिका, दै दूती गलबाहीं।

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