गोस

गोस के अर्थ :

गोस के हिंदी अर्थ

संस्कृत ; संज्ञा, पुल्लिंग

  • एक प्रकार का झाड़ जिसमें से गोंद निकलता है
  • प्रातःकाल से दो घड़ी पहले का समय, प्रभात, सुबह, भोर, तड़का
  • ग्रीष्म ऋतु
  • लोबान

फ़ारसी ; संज्ञा, पुल्लिंग

  • हवा लगने के लिए चलते हुए जहाज़ का रुख़ कुछ तिरछा करना, माँच कान, (लशकरी)

हिंदी ; संज्ञा, पुल्लिंग

  • देखिए : 'गुस्सा'

    उदाहरण
    . बचन मेचि मैं कहौं गरज बसि दरदवंद प्रभु करौ न गोसो ।

गोस के अवधी अर्थ

संज्ञा, पुल्लिंग

  • गोश्त, मांस

गोस के कन्नौजी अर्थ

फ़ारसी ; संज्ञा, पुल्लिंग

  • गोस्त, मांस

गोस के बघेली अर्थ

संज्ञा, पुल्लिंग

  • मांस, गोश्त

गोस के बुंदेली अर्थ

संज्ञा, पुल्लिंग

  • गोश्त

गोस के ब्रज अर्थ

संज्ञा, पुल्लिंग

  • झाड़ विशेष जिससे गोंद निकलता है
  • प्रभात
  • कान
  • ख़रगोश

    उदाहरण
    . गोस रोष हति।

  • धनुष-कोटि, नोंक

    उदाहरण
    . ज्यों कमान विन गोसनि।

गोस के मालवी अर्थ

संज्ञा, पुल्लिंग

  • माँस।

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