कति

कति के अर्थ :

  • स्रोत - संस्कृत

कति के ब्रज अर्थ

विशेषण

  • कितने, कितना; कौन
  • बहुत से , अगणित

कति के हिंदी अर्थ

विशेषण

  • (गिनती में) कितने

    उदाहरण
    . मीत रही तुम्हरे नहि दारा । अब दिखाहिं षोडसहि हजारा । कहहु मीत कुल की कुशलाई । सुना सुवन कति में सुखताई । . आँचर चीर धरइ हँसि हेरी । नहि नहि वचन भनब कति बेरी ।

  • किस कदर (तौल या माप में)
  • कौन

    उदाहरण
    . भरत कीन नृत पद पालन पै राम राय को थतिऊ । राम देव राजा नहिं दूसर इंद्र एक सुर कतिऊ ।

  • बहुत से, अगणित

    उदाहरण
    . जाहि के उदोत लहि जगमग होत जग जोत के उमंग जामें अनु अनुमाने है । चेत के निचय जाते चेतन अचेत चय, लय के निलय जामें सकल समाने हैं । विशवाधार कति जामें स्थिति है चराचर की, ईति की न गति जामें श्रुति परमाने हैं । ब्रह्मनंदमय ते अनामय अभय अंब तेरे पद मेरे अवलंब ठहराने हैं ।

कति के कुमाउँनी अर्थ

क्रिया-विशेषण

  • कहाँ–'कतिछ'- कहाँ हैं

  • कहाँ

कति के गढ़वाली अर्थ

क्रिया-विशेषण

  • कितना, कितने

Adverb

  • how much, how many.

कति के मैथिली अर्थ

विशेषण, लुप्त

  • कतेक

Adjective, Obsolete

  • how much.

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