माना

माना के अर्थ :

  • स्रोत - संस्कृत

माना के हिंदी अर्थ

संज्ञा, पुल्लिंग

  • एक प्रकार का मीठा निर्यास

    विशेष
    . यह निर्यास इटली और एशिया माइनर आदि देशों के कुछ विशिष्ट वृक्षों में से छेब लगाकर निकाला जाता है; अथवा कभी कभी उन वृक्षों पर कुछ कीड़ों आदि की कई क्रियाओं से उत्पन्न होना है और जो पीछे से कई रासायनिक क्रियाओं से शुद्ध करके औषधि के रूप में काम मे लाया जाता है । भारत के कई प्रकार के बाँसों तथा दूसरे अनेक वृक्षों पर भी यह कभी कभी पाया जाता है । यह रेचक होता है और इसके व्यवहार के उपरांत मनुष्य विशेष निर्बल नहीं होता । देखने में यह पीले रंग का, पारदर्शी और हलका होता है और प्रायः बहुत महँगा मिलता है ।

  • कुछ विशिष्ट प्रकार के वृक्षों, बाँसों आदि का गोंद या निर्यास जो चिकित्सा के काम आता है

संज्ञा, पुल्लिंग

  • अन्नादि नापने का एक पात्र

    विशेष
    . इसमें पाव भर अन्न आता है । यह लकड़ी, मिट्टी या धातु का बना होता है । इससे तरल पदार्थ भी नापे जाते है ।


सकर्मक क्रिया

  • नापना, तौलना

    उदाहरण
    . देखि विवरु सुधि पाय गीध में सवनि अपनो बलु मायो ।

  • जाँचना, परीक्षा करना

अकर्मक क्रिया

  • 'समाना' या 'अमाना'

    उदाहरण
    . इतनी बचन श्रवण सुनि हरष्यों फूल्यो अंग न मात । लै लै चरन रेनु निज प्रभु की रिपु के शोणित न्हात । . माई कहाँ यह माइगी दीपति जो दिन दो यहि भाँति बढ़ेगी ।


संज्ञा, स्त्रीलिंग

  • कुंभ, घड़ा
  • प्राचीन काल का एक प्रकार तका मानपात्र जिसमें दो अंजुसली या आठ पल आता था
  • चक्की के ऊपर के पाट में लगी हुई वह लकड़ी जिसके छेद मे कौली रहती है, जूआ न हाने पर यह लकड़ा ऊपर के पाट के छेद में जहाँ रहती है
  • कुदाल, वसुले आदि का वह छेद जिसमें बेंट लगाइ जाता है
  • किसी चीज में बनाया हुआ छेद जिसमे कुछ जड़ा जाय
  • अन्न का एक मान जो सोलह सर का होता है
  • साधारण छेद

माना के अवधी अर्थ

संज्ञा

  • लकड़ी का एक बर्तन जिसमें नाज, दही, दूध आदि नापा जाता है

    उदाहरण
    . यक माना

माना के बुंदेली अर्थ

विशेषण

  • दो मन की तौल

माना के मैथिली अर्थ

संज्ञा

  • नपबाक मौनी/चौङा, पैली

Noun

  • measuring basket/pot.

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