pamaar meaning in braj
पमार के ब्रज अर्थ
पुल्लिंग
-
क्षत्रिय जाति , परमार
उदाहरण
. केतो जोर पमार में ।
स्त्रीलिंग
-
एक शाक विशेष , चकवड़
उदाहरण
. मेढ़ा हमी बढ़ाइ, खाजी खूब पमार की ।
पमार के हिंदी अर्थ
संज्ञा, पुल्लिंग
- अग्निकुल के क्षत्रियों की एक शाखा, प्रमार, पवार, दे॰ 'परमार'
- चकवँड़, चक्रमर्दक, चकौड़ा
पमार के कन्नौजी अर्थ
संज्ञा, पुल्लिंग
- राजपूतों का एक भेद
पमार के बुंदेली अर्थ
संज्ञा, पुल्लिंग
- पमार (राजपूतों का एक भेद) एक प्रकार का पौधा जिसकी फली दाद रोग के उपयोग में लायी जाती है
संज्ञा, पुल्लिंग
- परमार, तीन कुरी (पमार धंदेरे और बुन्देला) के क्षत्रियों में से एक उपवर्ग
पमार के मैथिली अर्थ
संज्ञा
- एक गीत-काव्य जाहिमे वीर पुरुषक गाथा वर्णित रहैछ
- दे. परमार
Noun
- ballad/lyric sing by पमरिआ eulogising his patron.
पमार के तुकांत शब्द
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