घर्षण के पर्यायवाची शब्द
-
अनुरक्ति
आसक्ति, अनुराग, प्रीति, भक्ति
-
अनुराग
प्रीति, प्रेम, असक्ति, प्यार, मुहब्बत, लगाव
-
केलि
खेल , क्रीड़ा
-
क्षमा
चित्त की एक प्रकार की वृत्ति जिससे मनुष्य दूसरे द्वार पहुँचाए हुए कष्ट को चुपचाप सह लेता है और उसके प्रतिकार या दंड की इच्छा नहीं करता, यह वृत्ति तितिक्षा के अंतर्गत मानी गई है, क्षांति
-
कामकेलि
स्त्री-पुरुष का समागम, रतिक्रिया, कामक्रीड़ा
-
खटपट
अनबन, लड़ाई-झगड़ा, वैर-विरोध
-
खरोंच
नख आदि लगने या और किसी प्रकार छिलने का हलका चिह्न, खराश
-
गमन
एक स्थान से दूसरे स्थान को जाने की क्रिया, प्रस्थान, चलना, यात्रा करना
-
ग्राम्यकर्म
ग्रामवालों का पेशा
-
घिस्सा
रगड़ा, जैसे,—घिस्सा लगते ही कनकौआ कट गया, क्रि॰ प्र॰—पड़ना, —बैठना, —लगना
-
टक्कर
वह आघात जो दो वस्तुओं के वेग के साथ मिलने या छू जाने से लगता हैं, दो वस्तुओं के भिड़ने का धक्का, ज़ोर की ठोकर, क्रि॰ प्र॰—लगना
-
निधुवन
स्त्री आदि के साथ पुरुष आदि का समागम, मैथुन
-
प्रतिद्वंद्विता
बराबरवाले को लड़ाई, समान बल या बुदिधवाले व्यक्ति का विरोध, अपने से समान व्यक्ति का विरोध
-
प्रतिस्पर्धा
'प्रतिस्पर्द्धा'
-
प्रसंग
विवेचन विषय अथवा बातचीत का वह पहले वाला अंश जिसके संबंध में अब कुछ और कहा जा रहा हो, विवेच्य विषय का स्वरूप और परंपरा
-
प्रसभ
जबर्दस्ती, बलात्कार
-
परिभोग
बिना अधिकार के परकीय वस्तु का उपभोग
-
परिरंभण
'परिरंभ'
-
परिष्वंग
अलिंगन
-
बलात्कार
किसी स्त्री के साथ उसकी इच्छा के विरुद्ध संभोग करना, शीलभंग, किसी की इच्छा के विरुद्ध बलपूर्वक कोई नीति विरोधी कार्य करना, ज़बरदस्ती कोई काम करना,
- भक्ति
-
भुक्ति
भोजन, आहार
-
भोग
भोगने की अवस्था, क्रिया या भाव
-
मैथुन
स्त्री के साथ पुरुष का समागम, संभोग, रतिक्रीड़ा, सहवास
-
मर्षण
क्षमा, माफ़ी
- माफ़ी
-
मायावती
कामदेव की स्त्री रति का एक नाम
-
याम
तीन घंटे का समय, पहर
- रगड़
-
रतिदान
संभोग, मैथुन
-
रमण
आनंदोत्पादक क्रिया, विलास, क्रिड़ा, कोलि
-
रेवा
नर्मदा नदी
- विलास
-
विषय
वह तत्व अथवा पदार्थ जिसका ग्रहण ज्ञानेंद्रियों द्वारा होता हो, जैसे —रूप, रस, गंध, स्पर्श और शब्द जिनका संबंध क्रमशः आँख, जिह्वा, नाक, त्वचा और कान से है
-
शुभांगी
कुबेर की पत्नी का नाम
-
शीलभंग
दे॰ 'शीलखंडन'
-
संघर्ष
एक चीज़ का दूसरी चीज़ के साथ रगड़ खाना, संघर्षण, रगड़, घिस्सा
-
संघर्षण
दे॰ 'संघर्ष'
-
स्त्रीसुख
मैथुन
-
स्त्रीसंग
संभोग, मैथुन, प्रसंग
- संभोग
-
स्मरवधू
कामदेव की पत्नी, रति
-
समागम
नज़दीक या पास आना; आगमन, आना
-
समीचक
प्रसंग, मैथुन, संभोग
- सुरत
-
सेवन
परिचर्या, ख़िदमत, टहल, सेवा
-
संवेशन
बैठना
- सवास
-
संवास
साथ बसना या रहना
-
संश्लेष
मेल, मिलाप, संयोग
सब्सक्राइब कीजिए
आपको नियमित अपडेट भेजने के अलावा अन्य किसी भी उद्देश्य के लिए आपके ई-मेल का उपयोग नहीं किया जाएगा।
© 2024 Rekhta™ Foundation. All Right Reserved.
क्या आप वास्तव में इन प्रविष्टियों को हटा रहे हैं? इन्हें पुन: पूर्ववत् करना संभव नहीं होगा