biiraras meaning in braj
बीररस के ब्रज अर्थ
पुल्लिंग
- साहित्य के नौ रसों में से एक रस , इसमें उत्साह और वीरता को पुष्टि होती है, इसका वर्ण और देवता इंद्र है, उत्साह इसका स्थायी भाव है , धृति, मति, गर्व, स्मृति, तर्क, रोमांच आदि इसके संचारी भाव हैं
बीररस के तुकांत शब्द
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