deevadaarvaadi meaning in hindi
देवदार्वादि के हिंदी अर्थ
संज्ञा, पुल्लिंग
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भावप्रकाश के अनुसार एक क्वाथ जिसे प्रसूता स्त्री को पिलाने से ज्वर, दाह, सिर की पीड़ा, अतीसार, मूर्छा आदि उपद्रव शात हो जाते हैं
विशेष
. इस काढ़े, में ये वस्तुएँ बराबर बराबर पड़ती हैं—देवदार, वच, कुड़, पिप्पली, सौंठ, चिरायता, कायफल, मोथा, कुटकी, धनिया, हड़, गर्जापप्पली, जवासा, गोखरु भटकटैया (कंटकारि), गुलंचकंद, काकड़ासीणी और स्याहजीरा । काढ़ा तैयार हो जाने पर उसमें हींग और नमक ड़ाल देना चाहिए ।
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