kanThya meaning in braj
कंठ्य के ब्रज अर्थ
विशेषण
- गले से उत्पन्न , जिसका उच्चारण कंठ से हो
कंठ्य के अँग्रेज़ी अर्थ
Adjective
- guttural
कंठ्य के हिंदी अर्थ
विशेषण
- गले से उत्पन्न
-
जिसका उच्चारण कंठ से हो
उदाहरण
. क,ख आदि कंठ्य वर्ण हैं। - गले या स्वर के लिये हितकारी, जैसे,—कंठय औषध
- कंठ-संबंधी
संज्ञा, पुल्लिंग
- वह वर्ण जिसका उच्चारण कंठ से होता है , हिंदी वर्णमाला में ऐसे आठ वर्णं हैं— अ, क, ख, ग, घ, ङ, ह और विसर्ग
-
वह वस्तु जिसके खाने से स्वर अच्छा होता है या गला खुलता है , गले के लिये उपकारी औषध
विशेष
. सोंठ, कुलंजन, मिरेच, बच, राई, पीपर, पान । गुटिका करि मुख मेलिए, सुर कोकिला समान ।—वैद्यजीवन (शब्द॰) । -
वह वर्ण जिसका उच्चारण कंठ से होता है
उदाहरण
. क,ख आदि कंठ्य हैं । - (व्याकरण) ऐसे वर्ण जिनका उच्चारण कंठ से हो, संस्कृत में क्, ख्, ग्, घ, ङ, ह और विसर्ग को कंठ्य माना गया है, हिंदी में ये कोमल तालव्य हैं
कंठ्य के यौगिक शब्द
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