saaTak meaning in braj
साटक के ब्रज अर्थ
पुल्लिंग
- भूसी , छिलका , निकम्मी वस्तु ; छंद विशेष ; शार्दूल विक्रीडित छंद
साटक के हिंदी अर्थ
संज्ञा, पुल्लिंग
- भूसी , छिलक
-
बिलकुल तुच्छ और निरर्थक वस्तु , निकम्मी चीज
उदाहरण
. गज बाजि घटा, भले, भरि भटा, बनिता सुत भौंह तकै सब वै । धरनी धन धान सरीर भलो, सुर लोकहु चाहि इहै सुख ख्वै । सब फोकट साटक है तुलसी, अपनो न कछू सपनो दिन द्वै । जर जाउ सो जीवन जानकीनाथ ! जियै जग में तुम्हरो बिन ह्नै । -
एक प्रकार का छंद
विशेष
. कुछ लोग इसे शार्दूलविक्रीडित का अपभ्रष्ट रूप मानते हैं । 'रूपदीप पिंगल' के अनुसार इसका लक्षण इस प्रकार है—कर्मे द्वादश अंक आद सज्ञा मात्रा सिवो सागरे । दुज्जी बी करिके कलाष्ट दस बी अकों विरामाधिकम् । अते गुर्व निहार धार सबके औरो कछू भेद ना । तीसो मत्त उनीस अंक चरनेसेसो भणै साटिकम् । यथा—आदीदेव प्रनम्य नम्य गुरयं बानीय बंदे पयं ।—पृ॰ रा॰ १ ।१ ।उदाहरण
. छंद प्रबंध कवित्त जति साटक गाह दुहत्थ ।
साटक के अंगिका अर्थ
संज्ञा, पुल्लिंग
- छिलका, भूसी
साटक के तुकांत शब्द
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