kaa.nvar meaning in braj
काँवर के ब्रज अर्थ
स्त्रीलिंग
-
बहंगी , बाँस के दोनों सिरों पर वस्तु लादने के लिए छीकों से या कंडियों से युक्त साधन
उदाहरण
. रिझवारिन के मनों, मन भरि कांवरि लीन ना० ३/२६१
काँवर के हिंदी अर्थ
हिंदी ; संज्ञा, स्त्रीलिंग
- बांस का एक मोटा कट्टा जिसके दोनों छोरों पर वस्तु लादने के लिये छिंके लगे रहते हैं और जिससे कंधे पर रखकर कहार आदि चलते हैं , बहँगी
- एक डंडे को छोर पर बँधी हुई बाँस की टोकरीयाँ जिसमें यात्री गंगाजल ले जाते हैं
काँवर से संबंधित मुहावरे
काँवर के कन्नौजी अर्थ
काँवरि
संज्ञा, स्त्रीलिंग
- बहँगी. 2. वह डंडा जिसके दोनों छोरों पर टोकरियाँ बाँधते हैं और उनमें गंगाजल आदि रखकर तीर्थयात्री ले जाते हैं, कभी-कभी अन्य सामान ढोने के काम में भी आती है
काँवर के बुंदेली अर्थ
संज्ञा, पुल्लिंग
- यह लकड़ी की होती है इस पर घड़ा रखकर कहार पानी भरते हैं
काँवर के भोजपुरी अर्थ
संज्ञा, स्त्रीलिंग
-
बँहगी, तराजू जैसा दो डालियों का टोकरा जिसे कन्धे पर रखकर ले जाया जाता है;
उदाहरण
. सावन में भक्त लोग काँवर ले जाला।
Noun, Feminine
- kaanvar, baskets slung on shoulder to carry a thing.
काँवर के मगही अर्थ
अरबी ; संज्ञा
- बहँगीनुमा एक साधन जिसमें तीर्थों में पवित्र जल आदि रखकर ढोते हैं
- किसी तीर्थस्थान में देवआदि पूजन या किसी कामना की सिद्धि के लिए काँवर ले जाने वाला तीर्थयात्री
काँवर के तुकांत शब्द
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