स्थितप्रज्ञ

स्थितप्रज्ञ के अर्थ :

  • स्रोत - संस्कृत

स्थितप्रज्ञ के हिंदी अर्थ

विशेषण

  • जिसकी विवेकबुद्धि स्थिर हो
  • जो समस्त मनोविकारों से रहित हो, आत्मा द्वारा आत्मा में ही संतुष्ट रहने वाला, आत्मसंतोषी
  • जिसकी विवेक-बुद्धि स्थिर हो या जो सुख-दुख आदि मनोविकारों से विचलित न होता हो

    उदाहरण
    . स्थितप्रज्ञ व्यक्ति कभी दुखी नहीं होता ।

  • विवेकबुद्धि या स्थिरबुद्धिवाला; शांतचित्त
  • सब प्रकार के राग-द्वेष से रहित
  • सुख-दुख में विचलित न होने वाला; सदा संतुष्ट और आनंदित रहने वाला
  • जिसकी विवेक-बुद्धि स्थिर हो
  • सब प्रकार के मनोविकारों से रहित या शून्य और सदा आत्मा में ही प्रसन्न तथा संतुष्ट रहनेवाला

संज्ञा

  • वह व्यक्ति जिसकी विवेक-बुद्धि स्थिर हो या जो सुख-दुख आदि मनोविकारों से विचलित न होता हो

    उदाहरण
    . गीता में स्थितप्रज्ञ के लक्षण बताए गए हैं ।

स्थितप्रज्ञ के ब्रज अर्थ

विशेषण

  • स्थिर बुद्धि वाला , आत्म संतोषी

स्थितप्रज्ञ के मैथिली अर्थ

विशेषण

  • स्थिर बुद्धिवाला

Adjective

  • resolute.

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