ऊक

ऊक के अर्थ :

ऊक के हिंदी अर्थ

संस्कृत, हिंदी ; संज्ञा, विशेषण, पुल्लिंग, स्त्रीलिंग

  • उत्कट, तीव्र

    उदाहरण
    . अति ऊक गंध रसु रस्स वासि ।

  • उल्का, टूटता तारा

    उदाहरण
    . ऊक पात दिकदाह दिन फेकरहिं स्वान सियार । उदित केतु गत हेतु महि कंपति बारहिं बार ।

  • भूल, चूक, गलती

    उदाहरण
    . सुंदर इस औजूद मौं इश्क लगाई ऊक । आशिक ठंडा होइ आइ मिलै माशूक ।

  • लुक्क लुआठा

    उदाहरण
    . घरी एक झरि सार बहु ज्यों अगि संजुक्ता ऊक । पृ॰ रा॰, १० । ३३ ।

  • दाह, जलन, आच, ताप, तपन, ताव

    उदाहरण
    . कहाँ लौं मानै अपनी चूक । बिनु गुपाल सखि री यह छतियाँ ह्व��� न गई द्वै टूक । तन मन धन यौवन ऐसे सब भए भुअँगम फूँक । हृदय जरत है दावानल ज्यों कठिन बिरह की ऊक । जाकी मणि सिर ते हरि लीनी कहा कहत अति मूक । सूरदास ब्रज वास बसीं हम मनो दाहिनो सूक ।

ऊक के बज्जिका अर्थ

संज्ञा

  • उलाहना

ऊक के ब्रज अर्थ

सकर्मक क्रिया, स्त्रीलिंग, सकर्मक

  • लक , उल्का , लौ , लपट

    उदाहरण
    . भीजे घनआनंद कनौड़-पुंज लाय ऊक ।

  • दाह , आंच , तपन , जलन

    उदाहरण
    . हृदय जरत है दावानल ज्यों, कठिन विरह की ऊक।

  • जलाना , दुःख देना

सकर्मक क्रिया, अकर्मक क्रिया, स्त्रीलिंग, अकर्मक, सकर्मक

  • चूकना , भूल करना
  • भूल , चूक , गलती
  • छोड़ना ; भूलना

सकर्मक क्रिया, स्त्रीलिंग, सकर्मक

  • लक , उल्का , लौ , लपट

    उदाहरण
    . भीजे घनआनंद कनौड़-पुंज लाय ऊक ।

  • दाह , आंच , तपन , जलन

    उदाहरण
    . हृदय जरत है दावानल ज्यों, कठिन विरह की ऊक।

  • जलाना , दुःख देना

सकर्मक क्रिया, अकर्मक क्रिया, स्त्रीलिंग, अकर्मक, सकर्मक

  • चूकना , भूल करना
  • भूल , चूक , गलती
  • छोड़ना ; भूलना

ऊक के मैथिली अर्थ

संज्ञा

  • इण्टाक अग्रभागमे पजारल आगि जकर धधराक प्रकाशमै लोक चलैत छल, मसाल

Noun

  • torch of straw.

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